असित मोदी होंगे गिरफ्तार? हाई कोर्ट जाएंगी जेनिफर मिस्‍त्री, कहा- नहीं चाहिए मुआवजा, क्रिम‍िनल केस में हो एक्‍शन

'तारक मेहता का उल्‍टा चश्‍मा' शो से जुड़े यौन उत्‍पीड़न मामले में नया ट्व‍िस्‍ट आ गया है। जेनिफर मिस्‍त्री बंसीवाल स्थानीय शिकायत समिति के फैसले से खुश नहीं हैं। वह अब शो में प्रोड्यूसर असित कुमार मोदी के ख‍िलाफ क्र‍िम‍िनल केस यानी आपराध‍िक मामले में एक्‍शन चाहती हैं। इतना ही नहीं, वह इसके लिए हाई कोर्ट का दरवाजा भी खटखटाएंगी। वह पवई पुलिस थाने जाकर मामले में दर्ज FIR को बदलने की तैयारी कर रही हैं। यदि ऐसा होता है तो असित मोदी की मुश्‍क‍िलें बढ़ सकती हैं और वह गिरफ्तार भी हो सकते हैं। करीब एक साल पहले शो में मिसेज सोढ़ी का किरदार निभाने वाली जेनिफर ने असित मोदी के ख‍िलाफ यौन उत्‍पीड़न का मामला दर्ज किया था। मामले में पॉश कमिटी ने असित मोदी को दोषी पाते हुए उन पर 5 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है।

हमारे सहयोगी 'ई-टाइम्‍स' से बात करते हुए जेनिफर ने अब कहा है, 'पवई पुलिस स्टेशन में मैंने जो आपराधिक मामला दर्ज करवाया था, उसमें अभी तक कोई प्रगति नहीं हुई है। मैं अब दोबार पुलिस स्टेशन जाऊंगी।' जेनिफर ने बताया कि वह पिछले हफ्ते वह अकेले तीन बार पुलिस के पास गई थीं। लेकिन इस बार वह अपने वकील के साथ जाएंगी और इस बात पर जोर देंगी कि पुलिस उनके मामले में आरोप पत्र यानी चार्जशीट दाखिल करे।

जेनिफर मिस्‍त्री बोलीं- मैं पुलिस थाने में 5-5 घंटे बैठी

जेनिफर कहती हैं, 'अफसोस की बात है कि मेरे केस की जांच कर रहे अधिकारियों को दोबारा नियुक्त किया गया है। लेकिन मैं चुप नहीं रहने वाली हूं। मुझे इस मामले में पुलिस की कार्रवाई चाहिए। मेरे साथ ऐसा व्यवहार किया गया जैसे कि मैं ही अपराधी हूं। मुझे पुलिस स्टेशन में पांच घंटे तक इंतजार करना पड़ा। अपनी 10 साल की बेटी को घर पर छोड़कर, मैं पुलिस थाने में बैठी रही और छोटे-छोटे मुद्दों पर वरिष्ठ अधिकारियों से सलाह लेती रही। यहां तक कि मैंने सभी 100 ऑडियो रिकॉर्डिंग्स को भी ट्रांसक्रिप्ट किया और इसे मामले की जांच कर रहे अधिकारियों को सौंप दिया।'

'मैं डरकर चुप रहने वाली नहीं हूं'

जेनिफर मिस्‍त्री बंसीवाल ने यौन उत्पीड़न का सामना करने वाली लड़कियों की चुप्पी पर हैरानी जताई। उन्‍होंने कहा, 'आपको ऐसा क्यों लगता है कि लड़कियां खुलकर नहीं बोलेंगी? यह मुझे हैरान करता है। मैं ऐसे कई लोगों को जानती हूं, जिन्होंने उत्पीड़न का सामना किया है, लेकिन डर के कारण चुप हैं। यह वास्तव में निराशाजनक है।'

'यौन उत्‍पीड़न केस में सिर्फ मुआवजा सही नहीं'

जेनिफर ने आगे कहा, 'मैंने यह मामला पैसों, जुर्माना या मुआवजे के लिए दायर नहीं किया था। शुरुआत में तो मैंने अपनी फीस के बारे में भी नहीं सोचा था। अब, दोस्तों की सलाह पर मैंने इसे आगे बढ़ाया है। मैं भला अपनी मेहनत की कमाई क्यों जाने दूं?' जेनिफर इस बात पर जोर दिया कि उनका मकसद मुआवजा नहीं, बल्कि जवाबदेही है। वह कहती हैं, 'यह सिर्फ पैसे के बारे में नहीं है। सजा के बिना, सिर्फ मुआवजा गलत काम को प्रोत्साहित करता है। 5 लाख रुपये कोई बड़ी राशि नहीं है। इसलिए, मैं इस मामले को हाई कोर्ट में ले जाऊंगी। मैं इसके लिए तैयार हूं।'

सुनवाई के दौरान असित मोदी से दो बार मिलीं जेनिफर

असित मोदी के साथ हुई हालिया मुलाकातों के बारे में बात करते हुए जेनिफर ने कहा, 'पॉश (यौन उत्पीड़न निवारण समिति) की सुनवाई के दौरान मैं असित मोदी से दो बार मिली। शुरुआत में, उन्होंने मुझे नजरअंदाज कर दिया। वह समिति के सदस्यों को प्रभावित करने में व्यस्त रहे। उन्‍होंने 'तारक मेहता...' की यूनिट को अपना परिवार बताया और दावा किया कि वो मेरी परवाह करते हैं।'

असित मोदी ने दिया आर्थ‍िक तंगी का हवाला

जेनिफर का कहना है कि पॉश की दूसरी सुनवाई के दौरान, असित मोदी ने आर्थ‍िक तंगी हवाला दिया और कहा कि वह मुआवजा नहीं देंगे। जेनिफर बताती हैं, 'उन्होंने यहां तक सवाल किया कि मैं शैलेश लोढ़ा और मालव राजदा से प्रभावित हो रही हूं और वो लोग मुझे उकसा रहे हैं। वह दूसरों के नाम लेने लगे, लेकिन जब उन्‍हें एहसास हुआ कि मैं हमारी बातचीत रिकॉर्ड कर रही हूं, तो उन्‍होंने मेरे फोन की जांच करने की मांग की।'

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