एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। बॉलीवुड के बेहतरीन स्टार्स की बात हो और दिवंगत अभिनेता विनोद खन्ना का नाम शामिल ना हो ऐसा कैसे हो सकता है। उन्होंने विलेन बनकर अपना एक्टिंग करियर शुरू किया था और आज भी वह अपने फैंस के दिलों में जिंदा हैं। साल 1968 में आई फिल्म 'मन का मीत' से उन्होंने अपने एक्टिंग करियर की शुरुआत की थी।
इस फिल्म के बाद उन्होंने 'सच्चा झूठा', 'एलान', 'आन मिलो सजना', और 'मस्ताना' समेत कई फिल्मों में काम किया, लेकिन एक फिल्म ऐसी है, जिसने विनोद खन्ना को रातोंरात स्टार बना दिया था और ये फिल्म थी 'कुर्बानी'। हालांकि, इस फिल्म के लिए वह पहली पसंद नहीं थे, तो उन्हें यह फिल्म कैसे मिली। बता दें कि 27 अप्रैल को अभिनेता की डेथ एनिवर्सरी है। ऐसे में चलिए जानते हैं उनकी जिंदगी से जुड़े कुछ अनसुने किस्से।
यह भी पढ़ें: Vinod Khanna Death Anniversary: विलेन बनकर किया फिल्मों में डेब्यू, अभिनय का ऐसा दिखाया दम हीरो पर पड़े भारी
विनोद खन्ना ने 1968 में अपने करियर की शुरुआत की थी और इसके बाद उन्होंने कई फिल्मों में काम करके अपनी एक अलग ही पहचान बना ली थी। अभिनेता की गिनती उन स्टार्स में की जाती थी, जिसके पास नाम और शोहरत सब कुछ था। उन्होंने साल 1971 से 1980 के बीच में लगभग 47 मल्टी हीरो फिल्म में काम किया।
वहीं, अमिताभ बच्चन भी 70 के दशक के सुपरस्टार में से एक थे। फिरोज खान अमिताभ के साथ कुर्बानी बनाना चाहते थे, लेकिन एक्टर ने डेट्स की कमी की वजह से इसे ठुकरा दिया। ऐसे में फिरोज खान ज्यादा इंतजार नहीं करना चाहते थे और उन्होंने विनोद खन्ना को साइन कर लिया। जब फिल्म रिलीज हुई, तो इसने बॉक्स ऑफिस पर कमाई का रिकॉर्ड तोड़ दिया था। सिर्फ इतना नहीं, यह फिल्म उस साल की ब्लॉकबस्टर बन गई।
अपने स्टारडम के पीक पर बैठे विनोद खन्ना अचानक अध्यात्म के रास्ते पर चल पड़े। पहले उन्होंने ओशो के पुणे वाले आश्रम में जाना शुरू किया। फिर वो अपनी शूटिंग भी वहीं रखने लगे थे। इसके बाद उन्होंने पूरी तरह बॉलीवुड को अलविदा कह दिया और ओशो के साथ जाकर अमेरिका में उनके आश्रम में रहे। ओशो के साथ पांच साल बिताने के बाद अभिनेता ने फिर इंडस्ट्री में कदम रखा।
विनोद खन्ना साल 1997 में भाजपा में शामिल हुए थे। नेता से राजनेता बने विनोद खन्ना ने गुरदासपुर से चार बार लोकसभा चुनाव जीता था। उन्होंने केंद्रीय पर्यटन और संस्कृति राज्य मंत्री और विदेश मामलों के राज्य मंत्री के तौर भी काम किया था।
विनोद खन्ना को एडवांस ब्लैडर कैंसर था। मुंबई के गिरगांव में सर एच.एन. रिलायंस फाउंडेशन हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर में उनका इलाज चल रहा था, जहां कुछ हफ्तों बाद 27 अप्रैल, 2017 वह जिंदगी की जंग हार गए।
यह भी पढ़ें: Vinod Khanna के पिता नहीं चाहते थे कि उनका बेटा हीरो बने, इस एक्टर से मुलाकात के बाद बदली सोच
2024-04-26T19:04:26Z dg43tfdfdgfd