भारतीय संस्कृति की जननी है भारतीय माताएं: जीयर स्वामी

नवीनगर प्रखंड क्षेत्र के भगवानपुर गांव में आयोजित लक्ष्मी नारायण महायज्ञ के दूसरे दिन प्रवचन करते हुए श्री लक्ष्मी प्रपन्नाचार्य जीयर स्वामी जी महाराज ने कहा कि जब से सृष्टि है तब से सनातन वैदिक परंपरा है। गौतम बुद्ध सनातन परंपरा के उत्तराधिकारी थे। राजा विक्रमादित्य के नाम पर विक्रमीय संवत चल रहा है। कहा कि विश्वामित्र पाराशर जैसे लोग थोड़ी सी सावधानी को भूल गए और घटना घट गई। महात्मा लोगों को एकांत में रहना चाहिए। कहा कि सबसे अच्छा है गृहस्थ आश्रम और उसे अपनाना। भारतीय माताएं भारतीय संस्कृति की जननी हैं। हमने और आप में बहुत प्रकार का दोष है लेकिन भगवान इसको क्षमा करते हैं। दुनिया में कोई ऐसा प्राणी नहीं है जिसने पाप नहीं किया है। जीयर स्वामी ने कहा कि राम जब अपने पिता के भाई की पत्नी के नहीं हुए तो मेरे आपके क्या होंगे। राजा किसी पत्नी का, बेटा का, भाई का नहीं होता है। जो न्याय के लिए होता है, वही राजा होता है। न्याय के लिए मर्यादा का पालन करने वाले का नाम है श्री राम। स्नातक वैदिक परंपरा 50 हजार करोड़ वर्ष पहले का है। कलयुग की आयु चार लाख 32 हजार वर्ष है। इसकी दोगुनी आयु द्वापर युग की है और तीन गुणा आयु त्रेता युग की है तथा चौथा गुना आयु सतयुग की है। मौके पर लक्ष्मी नारायण महायज्ञ समिति के सभी सदस्य उपस्थित थे।

2024-04-26T14:29:21Z dg43tfdfdgfd